मैर्केल ने जर्मन निर्यात को सही ठहराया
१० नवम्बर २०१०20 प्रमुख आर्थिक सत्ताओं के नेताओं की पांचवीं भेंट में मुद्रा नीति और व्यापार संतुलन बहस के केंद्र में होगा. शिखर भेंट गुरुवार और शुक्रवार को दक्षिणी कोरिया की राजधानी सियोल में है.
मंगलवार को सियोल में शिखर भेंट की तैयारी बैठक हुई और मेजबान दक्षिण कोरिया ने बुधवार को बताया है कि तैयारी बैठक में भागीदार देशों के उप वित्त मंत्रियों ने रियायत देने और अपने अपने रुखों से हटने की कोई तैयारी नहीं दिखाई.
एक प्रवक्ता ने कहा, "आवाजें तेज हो गई थीं. वे कोई समझौता करने को तैयार नहीं थे. उन्होंने दरवाजा भी खुला छोड़ रखा था क्योंकि बहस गरमागरम हो गई थी." जी-20 देशों के दूत समापन दस्तावेज तैयार करने के लिए इकट्ठा हुए थे लेकिन उसमें बहुत सारे ब्रैकेट हैं क्योंकि शब्दों पर सहमति नहीं हो पाई.
नए आंकड़े बहस की आग में घी का काम करेंगे. अक्टूबर में चीन का निर्यात तेजी से बढ़ा है. चीनी अधिकारियों के अनुसार सितंबर के 17 अरब डॉलर के बाद अक्टूबर में व्यापार संतुलन में फायदा 27 अरब डॉलर रहा. उम्मीद की जा रही है कि अमेरिकी घाटा 45 अरब डॉलर रहेगा.
इन आंकड़ों की वजह से चीन पर मुद्रा की दर बढ़ाने का दबाव बढ़ जाएगा. पश्चिमी देश चीन पर अपनी मुद्रा की दर कृत्रिम रूप से कम रखने का आरोप लगा रहे हैं ताकि उसके निर्यात को विश्व बाजार में लाभ मिल सके.
इधर सियोल के लिए रवाना होने से पहले जर्मन चांसलर अंगेला मैर्केल ने मुद्रा विनिमय दर में विकृति के खिलाफ चेतावनी दी है. उन्होंने कहा, "मेरे लिए यह तय है कि विनिमय दर में विकृति वैश्विक आर्थिक विकास को कमजोर करती है." उन्होंने चेतावनी दी कि मुद्रा दर को कम रख निर्यात को बढ़ावा देने की नीति अदूरदर्शी है और अंततः सबके लिए नुकसानदेह है.
साथ ही जर्मन चांसलर ने व्यापार संतुलन में जर्मन फायदे को उचित ठहराते हुए कहा कि बैलेंस शीट क्षमता का प्रमाणपत्र है और वैश्विक व्यापारिक प्रक्रिया का नतीजा है. उन्होंने कहा, "निर्यात में हमारी सफलता दिखाता है कि जर्मन उत्पाद प्रतियोगी हैं."
रिपोर्ट: एजेंसियां/महेश झा
संपादन: वी कुमार