इतिहास में आजः 23 फरवरी
२३ फ़रवरी २०१४पांच बार फार्मूला वन रेस जीत चुके खुआन मानुएल फांजो का 23 फरवरी 1958 के दिन दो आदमियों ने अपहरण कर लिया. ये दो बंदूकधारी फिडेल कास्त्रो के 26 जुलाई मूवमेंट के सदस्य थे. वे हवाना के होटल लिंकन में घुसे और बंदूक की नोक पर फांजो को अगवा कर ले गए.
फांजो 1957 के क्यूबा ग्रां प्री में शामिल होने क्यूबा की राजधानी हवाना पहुंचे थे. इस रेस का आयोजन क्यूबा की बटिस्टा तानाशाही ने किया था, जो फार्मूला वन चैंपियनशिप का हिस्सा नहीं थी.
अपहृत फांजो को तीन अलग अलग घरों में रखा गया. उन्हें रेस का पूरा हाल रेडियो पर सुनवाया गया और रेस के बाद हुए क्रैश की रिपोर्टिंग के लिए अपहर्ता टीवी भी लाए. तीसरे घर में उन्हें सोने को बिस्तर भी दिया गया. 29 घंटे बाद उन्हें छोड़ दिया गया. बताया जाता है कि इसके बाद भी उन्होंने अपने अपहर्ताओं से दोस्ती बनाए रखी. अपहर्ता चाहते थे कि मोटर रेस रद्द करवा कर वो बटिस्टा तानाशाही को शर्मसार कर सकें.
फांजो को द मास्टर कहा जाता था. अर्जेंटीना के इस रेसिंग ड्राइवर ने फार्मूला वन के शुरुआती दशक में गजब का प्रदर्शन किया. वह उस समय इस प्रतियोगिता के पांच बार चैंपियन बने. यह एक ऐसा रिकॉर्ड था, जिसे टूटने में 46 साल लगे. इसे तोड़ने वाले जर्मनी के फर्राटा चालक मिषाएल शूमाखर थे. फांजो को अब तक के सर्वश्रेष्ठ फार्मूला वन चालकों में माना जाता है.