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पांच साल तक ताइवान के साथ खड़ा रहेगा पैराग्वे

१२ जुलाई २०२३

पैराग्वे के नव निर्वाचित राष्ट्रपति सैंटियागो पेना ताइवान की राजधानी ताइपे पहुंचे हैं. पैराग्वे दक्षिण अमेरिकी महाद्वीप का आखिरी ऐसा देश है जो अब तक ताइवान के साथ खड़ा है.

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ताइवानी राष्ट्रपति से मुलाकात करते पैराग्वे के नव निर्वाचित राष्ट्रपति
तस्वीर: Taiwan Presidential Office/Reuters

ताइपे में ताइवान की राष्ट्रपति त्साई इंग-वेन से मुलाकात के दौरान पैराग्वे के नव निर्वाचित राष्ट्रपति सैंटियागो पेना ने कहा, "पैराग्वे के लोगों के वादे के तहत हम अगले पांच साल तक ताइवान के लोगों के साथ खड़े रहेंगे." दुनिया में अब ऐसे 13 ही देश बचे हैं जो ताइवान को एक देश के रूप में मान्यता देते हैं और जिनके चीन के साथ कोई कूटनीतिक रिश्ते नहीं हैं.

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चुनाव अभियान में भी ताइवान के पक्ष में खड़े रहे पेना
चुनाव अभियान में भी ताइवान के पक्ष में खड़े रहे पेनातस्वीर: Jorge Saenz/AP Photo/picture alliance

ताइवान-पैराग्वे संबंध

अपनी पत्नी और बेटी के साथ ताइवान पहुंचे सैंटियागो पेना ने कहा, "हम अगले कुछ बरसों में ताइवान के लोगों को, खासतौर पर कारोबारी समुदाय को पैराग्वे में निवेश करने के लिए सहमत करने की कोशिश करते रहेंगे. ये कोशिशें सिर्फ कूटनीतिक हितों के लिए ही नहीं बल्कि दोनों देशों के साझा आर्थिक हितों के लिए भी होंगी." इस दौरान ताइवान की राष्ट्रपति त्साई ने कहा, "अधिनायकवादी सत्ता के विस्तार को देखते हुए, हम उम्मीद करते हैं कि ताइवान और पैराग्वे, स्वतंत्र लोकतंत्र, वैश्विक स्थिरता और विकास के मोर्चे पर साथ खड़े रहेंगे."

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पैराग्वे में राष्ट्रपति चुनाव के लिए प्रचार के दौरान पेना ने ताइवान के साथ संबंध बहाल रखने का वादा किया था. पेना के प्रतिद्वंद्वी अफ्रैन आलेग्रे ने देश को चीन की तरफ मोड़ने की वकालत की थी.

चीन-ताइवान तनाव

बीजिंग ताइवान को अपना अंग बताता है. वन चाइना पॉलिसी के तहत चीन, अन्य देशों को ताइपे का साथ कूटनीतिक रिश्ते बनाने से रोकने की कोशिश करता है. 2016 में ताइवान की आजादी की समर्थक त्साई के राष्ट्रपति बनने के बाद से चीन ने कई देशों को अपनी तरफ खींचने का खूब प्रयास भी किया है. विकास कर रहे देशों के आधारभूत ढांचे में निवेश के जरिए बीजिंग बहुत हद तक कुछ देशों को ताइवान से अलग करने में सफल भी रहा है. हाल ही में होंडूरास ने ताइपे से अपने संबंध तोड़ते हुए बीजिंग में अपना दूतावास खोला है.

ओएसजे/एसबी (एपी)