जन्मदिन पर मायावती की माया
१५ जनवरी २०११मायावती ने जन्मदिन पर लखनऊ के प्रमुख स्थानों का हेलीकाप्टर से दौरा किया. विपक्ष उनके जन्मदिन के सरकारी खर्च को शर्मनाक बता रहा है . भारतीय जनता पार्टी ने इसे जनता का अपमान बताया है. समाजवादी पार्टी के प्रमुख मुलायम सिंह यादव ने उन्हें जन्मदिन की बधाई देते हुए उनकी सदबुद्धि की कामना की. प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष रीता जोशी ने इसकी उच्चस्तरीय जांच की मांग की है.
मायावती के जन्मदिन के लिए पिछले करीब 10 दिन से लखनऊ को दुल्हन की तरह साजाया गया है. करीब चार हजार करोड़ की लागत से तैयार कराए गए दलित महापुरुषों के नाम पर बने स्मारकों और पार्कों पर हुई सजावट देखते ही बनती है. गोमतीनगर और आशियाना में बने अंबेडकर और कांशीराम के नाम पर बने स्मारकों पर जबरदस्त सजावट की गई है. सूत्रों का कहना है कि करीब पांच करोड़ रुपये सजावट पर खर्च किए गए हैं.
मायावती ने अपने जन्म दिन पर एक नए कानून को भी लागू किया. सूचना के अधिकार की तर्ज पर बनाए गए इस कानून का नाम ‘उत्तर प्रदेश जनहित गारंटी कानून' है जो शनिवार से लागू हो गया. इसके तहत अब निर्धारित समय में ही अधिकारियों को जन्म, मृत्यु, जाति, आय, विकलांग समेत बुनियादी आवश्यकता से जुड़े प्रमाणपत्रों को जारी करना होगा . मुख्यमंत्री ने उत्तर प्रदेश के राज्य कर्मचारियों को दस फीसदी मंहगाई भत्ता बढ़ाए जाने की भी घोषणा की.
मुख्यमंत्री ने अपने जन्मदिन की शुरूआत शनिवार की सुबह अपने सरकारी आवास पांच कालीदास मार्ग पर अपने परिजनों के साथ केक काट कर की और फिर राम मनोहर लोहिया विधि विश्वविद्यावय के डा.भीमराव अंबेडकर सभागार में एक भव्य कार्यक्रम के शिरकत की. वहां उन्होंने बौद्ध धर्म के रीति रिवाज के मुताबिक पूजा-अर्चना में भाग लिया. उन्होंने बौद्ध भिक्षुओ को चीवर दान दिया. उन्होंने लोहिया विश्वविद्यालय के प्रांगण में डा भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा का भी अनावरण किया. हर साल की तरह इस साल भी उन्होंने अपने जन्म दिन पर अपनी पुस्तक ‘ मेरे संघर्षमय जीवन एवं बीएसपी मूवमेंट का सफरनामें के छठे भाग का लोकार्पण भी किया. मुख्यमंत्री सुबह अपने सरकारी आवास से करीब पांच किलोमीटर दूर लोहिया विश्वविद्यालय हेलीकाप्टर से गईं. वहां के बाद वह गोमतीनगर में एसटीपी संयंत्र का उद्धाटन करने भी हेलीकाप्टर से ही गईं. उन्होंने हेलीकाप्टर से गोमतीनगर और आशियाना छेत्रों में दलित संतों के नाम पर बनाए गए स्मारकों और पार्कों की सजावट का निरिक्षण भी किया.
चुनाव की तैयारियों के मद्देनजर ताकत का प्रदर्शन
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश विधानसभा के अगले साल चुनाव होने हैं. पिछले चुनाव में बहुजन समाज पार्टी पूर्ण बहुमत के साथ जीती थी. इस बार भी साल भर पहले ही मायावती ने चुनाव की तैयारी भी शुरू कर दी है और करीब 200 प्रत्याशियों की घोषणा भी कर दी है . फिलहाल उत्तर प्रदेश में जो राजनीतिक हालात हैं उनमें बीएसपी सबसे प्रमुखता से आगे बढ़ती दिख रही है.
पिछले ही साल पार्टी ने अपना 25वां जन्म दिन मनाया है और वह पार्टी के लिए चंदा लेने के मामले में 125 साल पुरानी कांग्रेस को पीछे छोड़ चुकी है. चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2003 में बसपा को 202 करोड़ रुपये चंदे के रुप में मिले जबकि इस अवधि में कांग्रेस को सिर्फ 72 करोड़ का ही चंदा मिला. मायावती ने पिछले साल चुनाव आयोग को जो विवरण दिया है उसके मुताबिक उनकी अपनी निजी संपत्ति करीब 86 करोड़ रुपए दर्शाई गई है. भारत के किसी राजनीतिक व्यक्तित्व की आय इतनी तेजी से नहीं बढ़ी है जितनी मायावती की बढ़ी है. कहां से यह मायावती ही जानती हैं. उन पर आय से अधिक संपत्ति रखने का मामला भी सीबीआई दर्ज कर चुकी है. लेकिन मामले की कार्रवाई कछुए से भी धीमी रफ्तार में चल रही है. लोग कहते हैं कांग्रेस जानबूझकर ऐसा कर रही है ताकि सुरक्षित भविष्य के लिए उसके पास मायावती का विकल्प बचा रहे. चुनाव आयोग के मुताबिक बसपा ने सिर्फ 25 साल की अल्प आयु में ही अपने पार्टी फंड में 356 करोड़ रुपये जमा कर लिए हैं. बसपा सुप्रीमो को उनकी 55वें जन्म दिन पर शनिवार को भी पार्टी के लिए चंदा दिया गया. यहां पर यह बात गौर करने लायक है कि बसपा में शपथ पत्र के साथ ही चंदा दिया जाता है जिसमें चंदे का विवरण दर्ज होता है.
रिपोर्ट: सुहेल वहीद, लखनऊ
संपादन: ओ सिंह